साल 1984 के सिख दंगों पर बनी वेब सीरीज ‘ग्रहण’ (Grahan Web Series) की रिलीज पर संकट के बादल छा गए हैं। गुरुवार, 24 जून को यह वेब सीरीज रिलीज होने वाली है, लेकिन उससे ठीक पहले इस पर बैन लगाने की मांग उठ रही है। ट्विटर पर जहां बुधवार सुबह से ही #BanGrahanWebSeries ट्रेंड हो रहा है, वहीं शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमिटी (SGPC) की अध्यक्ष बीबी जागीर कौर ने सीरीज पर तत्काल प्रभाव से बैन लगाने की मांग की है। वेब सीरीज में सिख समुदाय को गलत तरीके से दिखाए जाने का आरोप है। यह सीरीज सत्य व्यास के उपन्यास ‘चौरासी’ की कहानी पर आधारित है।84 के सिख दंगों की कहानी पर है आधारित’ग्रहण’ सीरीज का ट्रेलर सामने आने के बाद से ही इस पर विवाद है। ट्रेलर में देश की पहली महिला प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी (Indira Gandhi) की हत्या के बाद सिख दंगों (1984 Sikh Riots) की कहानी दिखाई गई है। कहानी के केंद्र में दंगों की जांच भी है। इस सीरीज में ऐक्ट्रेस जोया हुसैन (Zoya Hussain) रांची पुलिस आयुक्त आईपीएस अफसर का किरदार निभा रही हैं, जिन्हें जांच सौंपी जाती है। जांच में उन्हें पता चलता है कि उन्हें जिस दोषी की तलाश है, वह उनके पिता ही हैं। सीरीज में जोया के पिता का किरदार पवन मल्होत्रा (Pawan Malhotra) निभा रहे हैं। सीरीज के ट्रेलर से साफ है कि इसमें सिख दंगों की लड़ाई, आगजनी और नरसंहार को दिखाया गया है।SGPC की अध्यक्ष बीबी जागीर कौर (फाइल फोटो)दंगों की गवाह ने ओटीटी को भेजा लीगल नोटिसमंगलवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस के जरिए सीरीज का विरोध दर्ज करते हुए बीबी जागीर कौर ने कहा, ‘सीरीज में एक किरदार को आपत्तिजनक तरीके से दिखाया गया है। इसमें एक सिख किरदार के खिलाफ नरसंहार का आरोप लगाया जा रहा है जो बेहद निंदनीय और मनगढ़ंत है।’ कौर ने बताया कि ’84 दंगों की गवाह बीबी निर्प्रीत कौर ने वेब सीरीज के निर्माता अजय जी राय और ‘डिज्नी + हॉटस्टार’ के प्रमुख और अध्यक्ष सुनील रयान को इस बाबत कानूनी नोटिस भी भेजा है, जिसका एसजीपीसी समर्थन करता है। ‘यह सिखों के जख्मों पर नमक छिड़कने जैसा’जागीर कौर ने आगे कहा, ‘इस वेब सीरीज के जरिए सिखों के जख्मों पर नमक छिड़कने और उनकी भावनाओं को ठेस पहुंचाने का काम किया जा रहा है। ऐसी फिल्में समाज में सांप्रदायिक सद्भाव को भी प्रभावित करती हैं। सरकार को इस तरह की संवेदनशील और आपत्तिजनक ट्रेंड्स पर रोक लगाने के लिए सख्त आईटी नियम बनाने चाहिए।’ उन्होंने इसके साथ ही सेंसर बोर्ड में सिख प्रतिनिधियों को शामिल करने की भी मांग की है, ताकि भविष्य में किसी भी फिल्म या सीरीज में समुदाय की आस्था से जुड़े विवादित सीन्स को हटाया जा सके।ओटीटी प्लेटफॉर्म के साथ ही ट्विवटर को भी चेतावनीजागीर कौर ने ओटीटी प्लेटफॉर्म ‘डिज्नी + हॉटस्टार’ के साथ ही सीरीज के निर्माताओं को कानूनी कार्रवाई की चेतावनी दी है। उन्होंने कहा कि यदि सीरीज में कोई भी आपत्तिजनक चीज दिखाई जाती है तो इस पर कानूनी ऐक्शन के लिए तैयार रहें। एसजीपीसी अध्यक्ष ने इसके साथ ही ट्विटर को भी चेतावनी जारी की है। उन्होंने कहा कि करीब दो महीने पहले 7 अप्रैल, 2021 को एसजीपीसी ने ट्विटर के मुख्य कार्यकारी अधिकारी जैक डोर्सी को भारत और विदेशों में सिखों के खिलाफ नफरत भरे ट्वीट्स के बारे में एक चिट्ठी लिखी थी। लेकिन एसजीपीसी को न तो ट्विटर से कोई प्रतिक्रिया मिली और न ही इस पर कोई ऐक्शन ही लिया गया है।