नयी दिल्ली 18 जून (भाषा) केंद्रीय सतर्कता आयोग (सीवीसी) ने शुक्रवार को केंद्र सरकार के संगठनों और सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों के सभी मुख्य सतर्कता अधिकारियों (सीवीओ) को लोकपाल से प्राप्त भ्रष्टाचार की शिकायतों की प्रारंभिक जांच करने वाले अधिकारियों के लिए न्यूनतम चार महीने का निर्बाध कार्यकाल सुनिश्चित करने के लिए कहा। सतर्कता अधिकारी एक सरकारी संगठन में आयोग की एक शाखा के रूप में कार्य करते हैं। उसने एक आदेश में कहा कि लोकपाल और लोकायुक्त अधिनियम, 2013 की धारा 20 (1) (बी) के तहत निहित प्रावधानों के अनुसार, समूह ए, बी, सी या डी से संबंधित लोक सेवकों के संबंध में शिकायतें लोकपाल द्वारा प्रारंभिक जांच के लिए सीवीसी को भेजी जाती हैं। सीवीसी ने कहा, “आयोग ने मुख्य सतर्कता अधिकारियों से प्रारंभिक जांच करने वाली अधिकारियों को कम से कम चार महीने का निर्बाध कार्यकाल सुनिश्चित करने के लिए कहा है। ताकि ऐसी शिकायतों की जांच में निरंतरता बनी रहे और वह समय पर पूरी हो।’’