चंडीगढ़, 25 जुलाई (भाषा) माल एवं सेवा कर (जीएसटी) के खुफिया प्रभाग के अधिकारियों ने दिल्ली के एक कारोबारी को कथित तौर पर फर्जी तरीके से 128 करोड़ रुपये के इनपुट टैक्स क्रेडिट (आईटीसी) हस्तांतरित करने के आरोप में गिरफ्तार किया है। एक वरिष्ठ अधिकारी ने रविवार को यह जानकारी दी।जीएसटी आसूचना महानिदेशालय (डीजीजीआई) की चंडीगढ़ परिक्षेत्र यूनिट के अधिकारियों ने जांच में पाया कि आरोपी कथित तौर पर सामान की खरीद-फरोखत के बिना ही बिल जारी कर रहा था और इस तरह अवैध तरीके से दिल्ली एवं चंडीगढ़ सहित कई जगहों पर विभिन्न इकाइयों को आईटीसी का दावा करने में मदद कर रहा था।आईटीसी के तहत इकाइयों को करोबार या उत्पादन की श्रृखंला में सामग्री या संसाधनों पर पहले चुकाए जा चुके कर के समायोजन/वापसी का लाभ मिलता है।डीजीजीआई की चंडीगढ़ जोनल इकाई के अधिकारी ने कहा कि आरोपी ने कई लाभार्थियों को फर्जी आईटीसी हस्तांतरित करने के लिए छह कंपनियां स्थापित की थीं।उन्होंने कहा कि आरोपी ने फर्जी तरीके से 128 करोड़ रुपये की आईटीसी हस्तांतरित किए ।अधिकारी ने बताया कि जीएसटी अधिकारियों ने आरोपी के दिल्ली और हिमाचल प्रदेश स्थित व्यावसायिक परिसरों और घरों पर भी छापेमारी की। उन्होंने कहा कि कुछ आपूर्तिकर्ताओं के परिसरों पर भी छापे मारे गए। जांच में यह भी पता चला कि उसकी ओर से जिन वस्तुओं को बिक्री के रूप में दिखाया गया था, उन्हें कभी खरीदा नहीं गया था और इसी तरह कुछ चीजें जिन्हें खरीद के रूप में दिखाया गया था, उन्हें विक्रेता कंपनियों द्वारा कभी बेची ही नहीं गया था। साथ ही जिन वाहनों को माल के परिवहन के साधनों के तौर पर दिखाया गया था, वे देश के दूसरे हिस्सों में चल रहे थे। आरोपी रेडीमेड कपड़े, रसायन, सिगरेट समेत अन्य चीजों का कारोबार करता है।