ब्रिस्टलइंग्लैंड के खिलाड़ियों ने स्नेह राणा और उनकी साथियों की एकाग्रता भंग करने के लिए लगातार छींटाकशी की, लेकिन भारतीय खिलाड़ी शांतचित बने रहे और एकमात्र महिला टेस्ट क्रिकेट मैच ड्रॉ कराने में सफल रहे।अपना पहला टेस्ट मैच खेल रही खिलाड़ियों शेफाली वर्मा, दीप्ति शर्मा, तानिया भाटिया, स्नेह राणा और पूजा वस्त्राकर के शानदार प्रदर्शन से भारत ने फॉलोआन करने के बावजूद मैच ड्रॉ करवाया। इंग्लैंड को चौथे और अंतिम दिन आखिरी सत्र में दो विकेट चाहिए थे, उसके गेंदबाजों ने हर तरह की रणनीति अपनाई तथा लगातार छींटाकशी भी की, लेकिन स्नेह और तानिया पर इसका कोई असर नहीं पड़ा।थिसारा परेरा ने किया कमाल, एक ओवर में छह छक्के लगाने वाले पहले श्रीलंकाई बनेतानिया के साथ अटूट शतकीय साझेदारी निभाने वाली स्नेह राणा ने वर्चुअल संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘हमें परेशान करना उनका काम था तथा उन्होंने इसके लिए कई तरह के प्रयास किए। हमने उन पर ध्यान नहीं दिया और चाहे हम दूर हों या पास प्रत्येक गेंद के बाद एक दूसरे से बातचीत करती रही। इससे हमारा हौसला बढ़ता। हम अपनी टीम के लिए क्रीज पर टिके रहना चाहती थी और मैदान पर इसी को लेकर बात कर रही थी।’Aritharan Vaseekaran 6 sixes in an over : टी10 क्रिकेट में बल्लेबाज ने एक ओवर में जड़े 6 छक्के, युवराज और पोलार्ड के इस खास क्लब में मिली एंट्रीस्नेह राणा का यह पिछले पांच वर्षों में भारत के लिए पहला मैच था। इस ऑलराउंडर ने 39.2 ओवर गेंदबाजी करने के बाद आठवें नंबर के बल्लेबाज के रूप में नाबाद 80 रन बनाए।उन्होंने कहा, ‘किसी तरह का दबाव नहीं था। हम केवल अपने खेल पर ध्यान दे रहे थे। वे छींटाकशी कर रहे थे, लेकिन हम दोनों ने अपनी बल्लेबाजी पर ध्यान देने का फैसला किया। मैंने इस बारे में नहीं सोचा और स्वयं को व्यस्त रखा। मैं नहीं चाहती थी कि परिस्थिति मुझ पर हावी हो और इसलिए मैंने अपना नैसर्गिक खेल खेला।’